मौर्य साम्राज्य
मगध का कौन सा राजा सिकंदर महान के समकालीन था - घनानंद U.P.P.C.S. (Pre) 1999
- महापदमनंद के उत्तराधिकारियों की संख्या पुराणों तथा बौद्ध ग्रंथों में 8 मिलती है।
- इस वंश का अंतिम शासक घनानंद था, जो सिकंदर का समकालीन था।
- उसे यूनानी लेखकों ने अग्रमीज कहा है।
प्रथम भारतीय साम्राज्य स्थापित किया गया था - चन्द्रगुप्त मौर्य द्वारा U.P. Lower Sub. (Pre) 2002
- चन्द्रगुप्त मौर्य की गणना भारत के महान शासकों में होती है।
- यह भारत का प्रथम ऐतिहासिक सम्राट था।
- जिसने वृहत्तर भारत पर अपना शासन स्थापित किया और जिसका विस्तार ब्रिटिश साम्राज्य से बड़ा था।
- उसके साम्राज्य की सीमा ईरान से मिलती थी।
- उसने ही भारत को सर्वप्रथम राजनीतिक रुप से एकबद्ध किया।
किस ग्रंथ में चन्द्रगुप्त मौर्य का विशिष्ट रुप से वर्णन हुआ है - विशाखदत्त B.P.S.C. (Pre) 2003
- विशाखदत्त कृत मुद्राराक्षस से चन्द्रगुप्त मौर्य के विषय में विस्तृत सूचना प्राप्त होती है।
- इस ग्रंथ में चंद्रगुप्त को नंदराज का पुत्र माना गया है।
- मुद्राराक्षस में चंद्रगुप्त को वृषल तथा कुलहीन भी कहा गया है।
कौटिल्य प्रधानमंत्री थे - चन्द्रगुप्त मौर्य के U.P.P.C.S. (Pre) 2002/U.P. Lower (Spl). (Pre) 2002
- चन्द्रगुप्त मौर्य के जीवन निर्माण में कौटिल्य का महत्वपूर्ण योगदान था।
- वह इतिहास में विष्णुगुप्त तथा चाणक्य इन दो नामों से विख्यात थे।
- जब चन्द्रगुप्त मौर्य भारत का एकछत्र सम्राट बना तो कौटिल्य प्रधानमंत्री, महामंत्री तथा प्रधान पुरोहित के पद पर आसीन हुए।
- वे राजनीति शास्त्र के प्रकांड पंडित थे और उन्होंने राजनीति शास्त्र पर अर्थशास्त्र नामक प्रसिद्ध ग्रंथ की रचना की थी।
किसकी तुलना मैक्यावेली के प्रिंस से की जा सकती है - कौटिल्य का अर्थशास्त्र U.P.P.C.S. (Pre) 1994
- अर्थशास्त्र राजनीति शास्त्र का एक अद्वितीय ग्रंथ है। इसकी तुलना मैक्यावेली के प्रिंस से की जाती है।
किसके शासनकाल में डाइमेकस भारत आया था - बिंदुसार U.P.P.C.S. (Pre) 2005
- स्ट्रैबो के अनुसार, सीरिया के राजा एंटियोकस ने डाइमेकस नामक अपना एक राजदूत बिंदुसार की राज्य सभा में भेजा था।
- यह मैगस्थनीज के स्थान पर आया था।
चन्द्रगुप्त मौर्य ने सेल्यूकस को किस वर्ष में पराजित किया था - 305 ई.पू. U.P.R.O/A.R.O. (Mains) 2014
- मौर्य वंश के संस्थापक चन्द्रगुप्त मौर्य ने सिंकदर के साम्राज्य के पूर्वी भाग के शासक सेल्यूकस की आक्रमणकारी सेना को 305 ई.पू. में परास्त किया था।
भारत का प्रथम अस्पताल एवं औषधि बाग निर्माण किसने करवाया था - अशोक ने U.P. Lower (Sub). (Mains) 2015
- अशोक 269 ई.पू. के लगभग मगध के राजसिंहासन पर बैठा। उसके अभिलेखों में उसे देवनामप्रिय, देवानां प्रियदसि, कहा गया है।
- अशोक केवल मानव ही नहीं बल्कि संपूर्ण प्राणी जगत के प्रति उदारता का दृष्टिकोण रखता था।
- इसी कारण उसने पशु पक्षियों के वध पर प्रतिबंध लगा दिया था।
- अशोक ने लोकहित के लिए छायादार वृक्ष, धर्मशालाएं बनवाई तथा कुए भी खुदवाएं।
- अशोक ने ही अपने शासनकाल में मनुष्यों व पशुओं के लिए उपयोगी औषधियों हेतु प्रथम अस्पताल एवं औषधि बागों का निर्माण करवाया।
अशोक के शासनकाल में बौद्ध सभा किस नगर में आयोजित की गई थी - पाटलिपुत्र B.P.S.C. (Pre) 2001
- सिंहली अनुश्रुतियों - दीपवंश तथा महावंश के अनुसार अशोक के राज्यकाल में पाटलिपुत्र में बौद्ध धर्म की तृतीय संगीति हुई।
- इसकी अध्यक्षता मोग्लिपुत्त तिस्स नामक प्रसिद्ध बौद्ध भिक्षु ने की थी।
सारनाथ स्तंभ का निर्माण किसने किया था - अशोक नेअशोक ने U.P. Lower (Sub). (Spl) (Pre) 2008
- सारनाथ स्तंभ का निर्माण अशोक ने करवाया था।
- इस स्तंभ के शीर्ष पर सिंह की आकृति बनी है जो शक्ति का प्रतीक है।
- इस प्रतिकृति को भारत सरकार ने अपने प्रतीक चिन्ह के रुप में लिया है।
- ये स्तम्भ मौर्ययुगीन वास्तु कला के सबसे अच्छे उदाहरण है।
- मौर्ययुगीन सभी स्तंभ चुनार के बलुए पत्थरों से निर्मित है।
सांची का स्तूप किस शासक ने बनवाया था - अशोक U.P.P.C.S. (Pre) 1991
- स्थापत्य कला के दृष्टिकोण से सांची के स्तूप को सर्वश्रेष्ठ माना गया है।
- सांची मध्यप्रदेश के रायसेन जिले में स्थित है।
- इसका निर्माण अशोक ने कराया था।
- इस स्तूप का आरंभिक काल तीसरी शताब्दी ई.पू. था।
- भरहूत का स्तूप मध्यप्रदेश के सतना जिले में स्थित है जिसकी तिथि दूसरी शताब्दी ई.पू. के लगभग है।
- सांची तथा भरहूत के स्तूपों की खोज एलेक्जेंडर कनिंघम ने की थी।
- अमरावती का स्तूप आंध्र प्रदेश के गुंटूर जिले में कृष्णा नदी के दाहिने तट पर स्थित है, कर्नल कॉलिन मैकेंजी ने 1797 में इस स्तूप का पता लगाया था।
- सारनाथ का स्तूप गुप्तकालीन है जो बिना आधार के समतल भूमि पर बनाया गया है। इसको धमेख स्तूप के नाम से भी जानते है।
तीर्थयात्रा के समय सम्राट अशोक सबसे पहले कहाँ गये - गया U.P.P.C.S. (Pre) 1999
- सम्राट अशोक की यात्राओं का क्रम ----
- गया, कुशीनगर, लुंबिनी, कपिलवस्तु, सारनाथ, श्रावस्ती।
अशोक के शिलालेखों का सर्वप्रथम किसने पढ़ा था - जेम्स प्रिंसेप B.P.S.C. (Pre) 2000
- सर्वप्रथम 1837 ई. में जेम्स प्रिसेंप नामक अंग्रेज विद्वान ने अशोक के लेखों को पढ़ा लेकिन उसने लेखो के देवानांप्रिय की पहचान सिंहल के राजा तिस्स से की।
- बाद में यह तथ्य प्रकाश में आया कि सिंहली अनुश्रुतियों दीपवंश तथा महावंश में यह उपाधि अशोक के लिए प्रयुक्त की गई है। अंततः 1915 ई. में मास्की (कर्नाटक) से प्राप्त लेख में अशोक नाम भी पढ़ लिया गया।
प्राचीन भारत में कौन सी एक लिपि दाई ओर से बाई ओर लिखी जाती थी - खरोष्ठी I.A.S. (Pre) 1997
- प्राचीन भारत में खरोष्ठी लिपि दाएं से बाएं लिखि जाती थी।
- इसे पढ़ने का श्रेय मैसन, प्रिसेंप, नोरिस, लैसेन, कनिंघम आदि विद्वानों को है।
- यह मुख्यतः उत्तर - पश्चिम भारत की लिपि थी।
मौर्यकाल में टैक्स को छुपाने (चोरी) के लिए क्या दण्ड दिया जाता था - मृत्युदण्ड P.C.S. (Pre) 2013
- मेगस्थनीज की इंडिका में पाटलिपुत्र के नगर प्रशासन का वर्णन मिलता है।
- इसके अनुसार, पाटलिपुत्र नगर का प्रशासन 30 सदस्यों की विभिन्न समितियों द्वारा होता था। इसकी कुल 6 समितियां होती थी तथा प्रत्येक समिति में 5 सदस्य होते थे।
- छठीं समिति का कार्य बिक्री कर वसूल करना था।
- विक्रय कर मूल्य का दसवें भाग के रुप में वसूल किया जाता था।
- करों की चोरी करने वालों को मृत्युदण्ड दिया जाता था।
प्रसिद्ध यूनानी राजदूत मेगस्थनीज भारत में किसके दरबार में आए थे - चंद्रगुप्त मौर्य R.A.S/R.T.S (Pre) 1997
- मेगस्थनीज सेल्यूकस निकेटर द्वारा चन्द्रगुप्त मौर्य की राज्य सभा में भेजा गया यूनानी राजदूत था।
- इसके पूर्व वह अराकोसिया के क्षत्रप के राज-दरबार में सेल्यूकस का राजदूत रह चुका था।
- मेगस्थनीज ने काफी समय तक मौर्य दरबार में निवास किया।
- भारत में उसने जो कुछ भी देखा - सुना, उसे उसने इंडिका नामक अपने ग्रंथ में लिखा।
- चीनी यात्री क्रम से -----
- (1) मेगस्थनीज
- (2) फाह्यान
- (3) सुत्संग
- (4) ह्वेनसांग
- (5) ईत्सिंग
- ट्रीक --- में फाँसी हुई।
मेगस्थनीज ने भारतीय समाज को कितनी श्रेणियों में विभाजित किया - सात B.P.S.C. (Pre) 2005
- मेगस्थनीज ने भारतीय समाज को सात श्रेणियों में विभाजित किया है।
- (1) दार्शनिक
- (2) कृषक
- (3) पशुपालक
- (4) कारीगर
- (5) योद्धा
- (6) निरीक्षक
- (7) मंत्री
- मेगस्थनीज भारतीय समाज में दास प्रथा के प्रचलित होने का उल्लेख नहीं करता है।
- उसके अनुसार मौर्य काल में कोई भी व्यक्ति न तो अपनी जाति से बाहर विवाह कर सकता था और न ही उससे भिन्न पेशा ही अपना सकता था।
मौर्य काल में शिक्षा का सर्वाधिक प्रसिद्ध केन्द्र था - तक्षशिला B.P.S.C. (Pre) 2005/P.C.S. (Pre) 2010
- तक्षशिला मौर्य काल में हिन्दू एवं बौद्ध शिक्षा का प्रमुख केन्द्र था।
- यहाँ विश्व भर से लोग पढ़ने आते थे।
- यह वर्तमान इस्लामाबाद (पाकिस्तान की राजधानी) से कुछ ही किमी. पश्चिम में स्थित था।
वर्तमान नगरपालिका प्रशासन का कौन सा कार्य मौर्य काल से जारी है - जन्म एवं मृत्यु का पंजीकरण R.A.S/R.T.S (Pre) 1992
- मौर्य युग में नगरों का प्रशासन नगरपालिकाओं द्वारा चलाया जाता था, जिसका प्रमुख नागरक या पुरमुख्य था।
- मेगस्थनीज ने पाटलिपुत्र के नगर परिषद की पांच - पांच सदस्यों वाली 6 समितियों का उल्लेख किया है।
- इनमें तीसरी समिति में जन्म - मृत्यु पंजीकरण का हिसाब रखती थी।
- वर्तमान में भी यह कार्य नगर पालिका प्रशासन द्वारा किया जाता है।
अंतिम मौर्य सम्राट कौन था - वृहद्रथ B.P.S.C. (Pre) 2008
- वृहद्रथ की हत्या इसके सेनापति पुष्यमित्र शुंग के द्वारा 184 ई.पू. में की गई।
- पुष्यमित्र शुंग ने शुंग वंश की स्थापना किया।
- पुष्यमित्र शुंग कट्टर ब्राह्मणवादी था इसने 2 अश्वमेध यज्ञ किये जिसके पुरोहित पतंजलि थे।
- पतंजलि ने महाभाष्य की रचना की।
जल की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए, जिस प्रथम शासक ने गिरनार क्षेत्र में एक झील का निर्माण करवाया, वह था - चन्द्रगुप्त मौर्य U.P.P.C.S. (Mains) 2002/U.P.P.C.S. (Pre) 2007
- चन्द्रगुप्त मौर्य ने गिरनार क्षेत्र में सुदर्शन झील का निर्माण कराया तथा अशोक ने ई.पू. तीसरी शताब्दी में इससे नहरे निकालीं।
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