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IIT दिल्ली के कुसुम स्कूल ऑफ बायोलॉजिकल साइंसेज के शोधकर्ताओं ने एक RT-PCR आधारित परीक्षण विकसित किया है, जो 90 मिनट में SARS-CoV-2 के ओमिक्रोन संस्करण का पता लगा सकता है।
यह परीक्षण विशिष्ट उत्परिवर्तन (mutation) का पता लगाने पर आधारित है, जो ओमिक्रोन संस्करण में मौजूद हैं।
नए विकसित परीक्षण को सिंथेटिक डीएनए अंशों का उपयोग करके अनुकूलित किया गया है।
ओमिक्रोन स्क्रीनिंग कैसे की जा रही है?
वर्तमान में, दुनिया भर में अगली पीढ़ी के अनुक्रमण आधारित विधियों का उपयोग करके ओमिक्रोन की पहचान या जांच की जा रही है।
इस परीक्षण के लिए 3 दिनों से अधिक की आवश्यकता होती है।
IIT-दिल्ली द्वारा विकसित RT-PCR आधारित परीक्षण की सहायता से 90 मिनट के भीतर ओमिक्रोन संस्करण की जांच करना संभव होगा।
इसका उपयोग ओमिक्रोन संस्करण वाले व्यक्तियों की पहचान करने के लिए किया जा सकता है।
परीक्षण का पेटेंट →
IIT दिल्ली ने परीक्षण के लिए एक भारतीय पेटेंट आवेदन दायर किया है।
यह संभावित उद्योग भागीदारों के साथ बातचीत शुरू करने की प्रक्रिया में है।
ओमिक्रोन संस्करण →
SARS-CoV-2 वायरस के ओमिक्रोन संस्करण का पहली बार विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) को 24 नवंबर, 2021 को दक्षिण अफ्रीका से पता चला था।
WHO ने इसे 26 नवंबर, 2021 को चिंताजनक संस्करण के रूप में नामित किया और इसे ओमिक्रोन नाम दिया।
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